– जिले के सरकारी स्कूलों में पत्रकार के तौर पर अवांछित व्यक्तियों की रिपोर्टिंग पर बीएसए का फ़तवा जारी
– सरकारी स्कूलों में रिपोर्टिंग के दौरान अब जिला सूचना अधिकारी द्वारा निर्गत पहचान पत्र दिखाना कर दिया गया अनिवार्य 
महराजगंज: जनपद के तमाम सरकारी स्कूलों व्याप्त अनियमितताओं के खुलासे के बाद अब विद्यालयों में पत्रकार के रूप में अवांछित व्यक्तियों के पहुंचने और अनावश्यक रूप से विद्यालयों को बदनाम करने की शिकायत का हवाला देकर बेसिक शिक्षा अधिकारी ने 3 सितंबर को प्रधानाचार्य व प्रधानाध्यापक को एक आदेश जारी किया है। जिसमें निर्देशित किया गया है कि किसी को भी विद्यालय की खबर बनाने के पहले जिला सूचना अधिकारी द्वारा निर्गत पहचान पत्र मांगा जाए। इसके बाद उसे रिपोर्टिंग करने दिया जाए। हैरानी की बात यह है की आदेश में स्पष्ट तौर पर उल्लेखित किया गया है कि किसी भी विभागीय अभिलेख/दस्तावेज की तस्वीर ना खींचने दी जाये | इस आदेश के जारी होते ही पत्रकारों में आक्रोश व्याप्त हो गया है। पत्रकारों व सामाजिक कार्यकर्ताओं व राजनीतिक दलों के लोगों का कहना है कि बीएसए विद्यालयों में व्याप्त भ्रष्टाचार को छुपाने के लिए तानाशाह जैसे आदेश जारी कर प्रेस पर प्रतिबंध लगा रहे हैं। वही इस आदेश के जारी होने के बाद चर्चाओ का बाज़ार गर्म है कि बीते कुछ दिनों में जिस तरह से सरकारी विद्यालयों में मिड डे मील, कस्तूरबा गांधी विद्यालय में बच्चियों की पिटाई, 15 अगस्त के दिन कई शिक्षकों का स्कूल ना आना और विद्यालय में अश्लील डांस की खबर प्रकाशित कर कमियों को उजागर करने से जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी के पसीने छूट गए हैं। खुद ही एक आदेश जारी कर सरकार के मंशा के विपरीत पत्रकारों को रोका जा रहा है, ताकि इनके करतूत मीडिया के जरिए बाहर ना आने पाए। अब ऐसे हालात में जिला सूचना अधिकारी कितने और कैसे लोगों पहचान पत्र निर्गत करेंगे यह तो आने वाला वक्त ही बता सकेगा..