बॉर्डर न्यूज़ लाइव, महराजगंज
ठूठीबारी/महराजगंज। पत्रकारिता की गरिमा को शर्मसार करने वाला एक मामला ठूठीबारी कस्बे में सामने आया, जहां एक कथित फर्जी पत्रकार को ग्रामीणों ने जालसाजी करते हुए पकड़ा और कोतवाली पुलिस को सौंपा। पकड़ा गया युवक नकली और प्रतिबंधित नोटों के साथ सूखी मछली (झिंगा) खरीदने का प्रयास कर रहा था, लेकिन दुकानदार की सूझबूझ और स्थानीय ग्रामीणों की सतर्कता से उसे पकड़ लिया गया।
ठूठीबारी निवासी मथुरा साहनी, जो पकली मंडी में सूखी मछली की दुकान चलाते हैं, ने बताया कि सात सितंबर को एक युवक उनके दुकान पर आया और 900 रुपये की कीमत की एक किलो झिंगा मछली खरीदने के लिए 500-500 रुपये के दो नकली नोट देकर निकल गया।
बुधवार सुबह वही युवक एक साथी के साथ फिर से दुकान पर आया और पुनः 500-500 रुपये के दो नकली नोट देकर मछली खरीदने का प्रयास किया। दुकानदार को शक हुआ और उसने आसपास के लोगों को इसकी जानकारी दी। देखते ही देखते ग्रामीणों की भीड़ इकट्ठी हो गई। मौके पर एक युवक भागने में सफल हो गया, जबकि दूसरा पकड़ लिया गया। तलाशी के दौरान उसकी बाइक की डिग्गी से भारी मात्रा में जाली नोट और पुराने नोट बरामद हुए।
जाली नोट और प्रतिबंधित मुद्रा:
निचलौल के क्षेत्राधिकारी अनुज कुमार सिंह ने बताया कि आरोपी की पहचान सिंदुरिया थाना क्षेत्र के ग्राम हरिहरपुर निवासी राम विनोद शर्मा के रूप में हुई। उसकी बाइक की डिग्गी से निम्नलिखित जाली और प्रतिबंधित मुद्रा बरामद हुई:
- 500 रुपये के जाली नोट: ₹5000 (10 नोट)
- पुराने भारतीय नोट: ₹45,000 (500 रुपये के 90 नोट)
- पुराने भारतीय नोट: ₹99,000 (1000 रुपये के 99 नोट)
- नेपाली जाली मुद्रा: ₹1000 (1000 रुपये का एक नोट)
पत्रकारिता की छवि पर दुष्प्रभाव:
यह घटना पत्रकारिता की विश्वसनीयता पर गंभीर सवाल खड़े करती है। जिस पेशे का उद्देश्य समाज को सही जानकारी देना और लोगों की आवाज़ उठाना है, वहां इस तरह की घटनाएं उसकी छवि को धूमिल करती हैं। तथाकथित फर्जी पत्रकारों की इस तरह की गतिविधियां न केवल समाज में अराजकता फैलाती हैं, बल्कि असली और ईमानदार पत्रकारों की मेहनत पर भी सवालिया निशान खड़ा करती हैं। पत्रकारिता के क्षेत्र में ऐसे लोगों की उपस्थिति को रोकना और उन्हें न्याय के कठघरे में लाना बेहद आवश्यक है ताकि समाज में पत्रकारिता की विश्वसनीयता बनी रहे।